हरतालिका तीज के दिन, हम भगवान शिव के प्रति अपनी भक्ति और समर्पण को प्रकट करते है। इस दिन का खास महत्व उस पुराणिक कथा से जुड़ा है जब माता पार्वती ने अपनी तपस्या से भगवान शिव को प्राप्त किया था।
इस “हरतालिका तीज” पर भगवान शिव की पूजा करने के बारे में और भी अधिक जानकारी प्राप्त करके, हम उनके प्रति अपनी भक्ति को और भी गहरा बना सकते हैं और उनकी कृपा प्राप्त करने का सुनहरा अवसर प्राप्त कर सकते हैं।
हरतालिका तीज व्रत का महत्व क्या है ?
“सुहागिनों और कुंवारी कन्याओं के बीच सबसे महत्वपूर्ण पर्वों में से एक है हरतालिका तीज। हिंदू धर्म में इसे विशेष महत्व दिया गया है। यह पर्व भाद्रपद मास के शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि को मनाया जाता है, और इसका जुड़ाव भगवान शिव और माता पार्वती से है। इस दिन भक्तगण भगवान शिव-पार्वती की पूजा अत्यंत भक्ति भाव से करते हैं।
हरतालिका तीज के दिन महिलाएं निर्जला व्रत रखती हैं, जिसका मतलब होता है कि व्रत के दौरान वे निर्जल (बिना पानी के) रहती हैं। वे अपने पति की दीर्घायु की कामना करती हैं और खुद को उनकी सखी देवी पार्वती के भक्त के रूप में मानती हैं।
इस बार हरतालिका तीज 18 सितम्बर 2023 को मनाई जाएगी। इस दिन सुहागिन महिलाएं अपने घरों में भगवान शिव, माता पार्वती, और उनके पूरे परिवार की मिट्टी की मूर्तियां बनाती हैं और मंदिर में स्थापित करती हैं। माता का श्रृंगार किया जाता है और उन्हें विशेष भोग चढ़ाए जाते हैं।
व्रत के दिन महिलाएं हाथों पर मेहंदी का डिज़ाइन बनाती हैं और रात्रि में माता गौरी की पूजा करती हैं। यह व्रत सिर्फ सुहागिनों तक ही सीमित नहीं रहता, बल्कि कुंवारी लड़कियाँ भी इसमें भाग लेती हैं और उपवास करती हैं।
इस रूप में, हरतालिका तीज पर्व महत्वपूर्ण रूप से मातृत्व, परिवार, और धार्मिक भावनाओं को दर्शाता है, जो महिलाओं के जीवन में गहराई से बसे होते हैं।”
हरतालिका तीज पर भगवान शिव को कैसे करे खुश
“हरतालिका तीज” एक विशेष दिन है जब हम भगवान शिव को अपनी भक्ति और पूजा से प्रसन्न कर सकते हैं। तो क्या करे इस दिन ,आइये जानते है ,और प्रसन्न कैसे कर सकते हैं।
- श्रद्धा और भक्ति: भगवान शिव को खुश करने का पहला कदम उनके प्रति श्रद्धा और भक्ति में है। आपकी पूजा को उनके प्रति विशेष भावनाओं के साथ करें, और उनके चरणों में आपकी भक्ति को प्रकट करें।
- ध्यान और मेधा: ध्यान और मेधा से भरपूर रहना भगवान शिव को खुश करने के लिए महत्वपूर्ण है। आप मन को शांत और एकाग्रचित्त के साथ रखकर उनके चिन्तन में लगे रहें।
- पूजा और अर्चना: हरतालिका तीज के दिन भगवान शिव की पूजा करें। आप मंदिर में उनकी मूर्ति की सजाकर पूजा कर सकते हैं या फिर उनकी उपस्थिति को अनुभव करने के लिए ध्यान कर सकते हैं।
- व्रत और उपवास: बहुत से लोग हरतालिका तीज पर उपवास करते हैं। यह उनके भक्ति और समर्पण की प्रतीक होता है। यदि आपकी स्वास्थ्य की स्थिति अनुमति देती है, तो आप भी व्रत और उपवास कर सकते हैं।
- मन्त्र और जाप: शिव मंत्र जप करने से भी आप उन्हें प्रसन्न कर सकते हैं। “ॐ नमः शिवाय” या अन्य शिव मंत्रों का नियमित जाप करें।
- साधना और आध्यात्मिकता: आध्यात्मिक अभ्यास के माध्यम से भी आप भगवान शिव के साथ संवाद में आ सकते हैं। ध्यान और प्राणायाम के द्वारा आप अपने मन को शांत करके उनके साथ संयोग कर सकते हैं।
इन सभी तरीकों से, आप भगवान शिव के साथ अपनी भक्ति, प्रेम, और समर्पण का आदान-प्रदान कर सकते हैं, और उन्हें प्रसन्न करने का अद्भुत अवसर प्राप्त कर सकते हैं।
हरतालिका तीज को कुंवारी लड़कियाँ कैसे मनाये
इस पर्व को कुंवारी लड़कियों के लिए भी खास अर्थ और महत्व दिया गया है। यहां कुछ उपाय दिए गए हैं जिनका उपयोग करके कुंवारी लड़कियाँ हरतालिका तीज को मना सकती हैं:
- उपवास और पूजा: कुंवारी लड़कियाँ हरतालिका तीज के दिन उपवास करके भगवान शिव-पार्वती की पूजा कर सकती हैं।
- माता पार्वती की पूजा: व्रत के दिन माता पार्वती की मूर्ति की पूजा करने से भगवान शिव की कृपा मिल सकती है।
- मेहंदी की सजावट: कुंवारी लड़कियाँ अपने हाथों पर मेहंदी की सजावट कर सकती हैं, जिससे वे इस पर्व की खासी भावना को बढ़ा सकती हैं।
- व्रत की कथा सुनना: कुंवारी लड़कियाँ व्रत के दिन माता पार्वती और भगवान शिव की कथा को सुनकर उनके भक्ति और समर्पण में बढ़ सकती हैं।
- परिवार के साथ समय बिताना: इस दिन परिवार के साथ समय बिताने से भी यह विशेष अवसर और खासी बन सकता है।
- पूजा सामग्री की तैयारी: कुंवारी लड़कियाँ पूजा सामग्री की तैयारी में मदद करके इस पर्व को खास बना सकती हैं।
- दोस्तों के साथ मनोरंजन: दोस्तों के साथ मनोरंजन करने और उपहारों की आपसी विनम्रता से इस पर्व को मना सकती हैं।
- आध्यात्मिक अभ्यास: कुंवारी लड़कियाँ आध्यात्मिक अभ्यास जैसे मन्त्र जप या ध्यान के माध्यम से भगवान शिव के साथ संवाद में आ सकती हैं।
हरतालिका तीज के दिन कुंवारी लड़कियाँ इन उपायों का अनुसरण करके न शिव की कृपा प्राप्त कर सकती हैं बल्कि अपने जीवन में भक्ति और समर्पण की भावना को भी मजबूती से बना सकती हैं।
हरतालिका तीज के दिन क्या क्या नहीं करना चाहिए?
“हरतालिका तीज” एक महत्वपूर्ण पर्व है जो भगवान शिव और माता पार्वती की पूजा में मनाया जाता है। इस दिन कुछ विशेष नियमों का पालन करना आवश्यक होता है ताकि पर्व के माहौल में आदर्श और शुभकामनाएँ प्राप्त की जा सकें।
- निर्जला व्रत: हरतालिका तीज के दिन निर्जला व्रत का पालन करना चाहिए, जिसका मतलब होता है कि आपको पूरे दिन बिना पानी पीने का व्रत रखना होता है।
- माता पार्वती की पूजा: इस दिन भगवान शिव की पत्नी माता पार्वती की पूजा और उनकी मूर्ति को सजाकर पूजन करना चाहिए।
- आध्यात्मिक अभ्यास: हरतालिका तीज के दिन आध्यात्मिक अभ्यास जैसे मन्त्र जप और ध्यान का समय निकालना चाहिए।
- मेहंदी की सजावट: कुंवारी लड़कियाँ मेहंदी का डिज़ाइन बनाकर इस पर्व की खासी भावना को बढ़ा सकती हैं।
- पूजा सामग्री की तैयारी: पूजा सामग्री की तैयारी में मदद करके पर्व की महत्वपूर्णता को समझने में मदद कर सकते हैं।
- अच्छे विचार: इस दिन अच्छे विचार और सकारात्मक भावनाओं का साथ रखना चाहिए, ताकि आपका मन शुद्ध और प्रेरित रहे।
- आलिंगन और पूजा: व्रत के दिन भगवान शिव की पूजा करते समय आलिंगन करने से भी उनकी कृपा मिल सकती है।
- नैतिकता और उचितता: इस दिन नैतिकता और उचितता का पालन करना चाहिए, ताकि आपका आचरण और विचार शुद्ध रहें।
इन सभी नियमों का पालन करके हम हरतालिका तीज के दिन अपने आचरण में पवित्रता, आदर्शता, और धार्मिकता को बढ़ा सकते हैं।